News Saga Desk
नई दिल्ली। मुंबई में 26 नवंबर, 2008 को आतंकी हमले का मास्टरमाइंड तहव्वुर हुसैन राणा को आज दिल्ली के पटियाला हाउस कोर्ट में पेश किया गया। कोर्ट ने 12 दिन के लिए उसकी हिरासत बढ़ाने की NIA की याचिका पर फैसला सुरक्षित रख लिया है।

NIA तहव्वुर राणा को 10 अप्रैल को स्पेशल प्लेन से अमेरिका से भारत लेकर आई थी। उसका प्रत्यर्पण टॉप-सीक्रेट मिशन ‘ऑपरेशन राणा’ के तहत हुआ था। 10 अप्रैल को उसे स्पेशल NIA जज चंद्रजीत सिंह ने उसे 18 दिन की कस्टडी में भेज दिया था। आज राणा की कस्टडी खत्म होने वाली थी।
तहव्वुर को अमेरिका के शिकागो में अक्टूबर 2009 में अमेरिकी एजेंसी FBI ने गिरफ्तार किया था। उस पर मुंबई के 26/11 और कोपेनहेगन में आतंकी हमले को अंजाम देने के लिए जरूरी सामान मुहैया कराने का आरोप था।

NIA ने तहव्वुर राणा को भारत लाने के बाद उसकी यह तस्वीर जारी की थी। हालांकि, इसमें उसका चेहरा नजर नहीं आ रहा था।
परिवार से बात करने की याचिका खारिज कर चुका कोर्ट
इससे पहले पटियाला हाउस कोर्ट ने 24 अप्रैल को तहव्वुर राणा की याचिका परिवार से बात करने की मांग वाली खारिज कर दी थी। राणा के वकील पीयूष सचदेवा ने तर्क दिया था कि एक विदेशी नागरिक के तौर पर उसे अपने परिवार से बात करने का मौलिक अधिकार है। उसका परिवार उसके इलाज को लेकर चिंता में हैं।
हालांकि, राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने जांच का हवाला देते हुए इसका विरोध किया था और कहा कि राणा संवेदनशील जानकारी का खुलासा कर सकता है। इसके बाद स्पेशल NIA जस्टिस चंदर जीत सिंह ने तहव्वुर राणा की याचिका खारिज करने का फैसला किया। अधिकारियों ने 26 अप्रैल को बताया कि मुंबई पुलिस की क्राइम ब्रांच के अधिकारियों ने तहव्वुर राणा से दिल्ली स्थित NIA ऑफिस में पूछताछ की। राणा से 23 अप्रैल को आठ घंटे तक पूछताछ की गई थी। इस दौरान उसने जवाब देने में टालमटोल किए और मदद नहीं की।
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